पञ्चांग 10 सितम्बर 2025 दिन बुधवार।।

Panchang 10 September 2025
Panchang 10 September 2025

बालाजी वेद, वास्तु एवं ज्योतिष केन्द्र।।

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आज का लेख एवं आज का पञ्चांग 10 सितम्बर 2025 दिन बुधवार।।

मित्रों, तारीख 10 सितम्बर 2025 दिन बुधवार को अश्विन मास के कृष्ण पक्ष की तृतीया तिथि है। आज संकष्टी श्रीगणेश चतुर्थी व्रत भी है। आज माता ललितादेवी की यात्रा भी है। आज तीसरे दिन का श्राद्ध किया जायेगा। अर्थात यदि आपके पिताजी का देहावसान जिस तारीख को हुआ है, किसी पंडित को वो तारीख बताकर पूछिये की उस तारीख को कौन सी तिथि थी? यदि तृतीया तिथि हुई तो उनका श्राद्ध आज ही किया जायेगा। इस दौरान पितरों की आत्मा की शांति के लिए श्राद्ध कर्म-तर्पण एवं पिंडदान किया जाता है। मान्यता है कि पितृ पक्ष में पितरों को जलार्पण करने, पिंडदान एवं श्राद्ध (पितरों का प्रिय भोजन किसी ब्राह्मण को करवाने) करने से उनकी आत्मा तृप्त होती है और उनका आशीर्वाद प्राप्त होता है। अपने पितरों एवं सम्पूर्ण चराचर जीवों को अपना पूर्वज मानकर एवं उनके प्रति श्रद्धा निवेदित करना चाहिए। ऐसा करना सामान्य रूप से भी मूलतः भारतीय परंपरा कितनी उदार है इसको दर्शाता है, तथा ऐसा करने से पितरों को वर्षपर्यंत सुख की प्राप्ति होती है। आप सभी सनातनियों को “तीसरे दिन के श्राद्ध” की हार्दिक शुभकामनाये।।

हे आज की तिथि (तिथि के स्वामी), आज के वार, आज के नक्षत्र (नक्षत्र के देवता और नक्षत्र के ग्रह स्वामी), आज के योग और आज के करण। आप इस पंचांग को सुनने और पढ़ने वाले जातकों पर अपनी कृपा बनाए रखें। इनको जीवन के समस्त क्षेत्रो में सदैव ही सर्वश्रेष्ठ सफलता प्राप्त हो। ऐसी मेरी आप सभी आज के अधिष्ठात्री देवों से हार्दिक प्रार्थना है।।

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वैदिक सनातन हिन्दू पञ्चांग, Vedic Sanatan Hindu Panchang पाँच अंगो के मिलने से बनता है, ये पाँच अंग इस प्रकार हैं :- 1:- तिथि (Tithi), 2:- वार (Day), 3:- नक्षत्र (Nakshatra), 4:- योग (Yog) और 5:- करण (Karan).

पञ्चांग का पठन एवं श्रवण अति शुभ माना जाता है। इसीलिए भगवान श्रीराम भी पंचाग का श्रवण करते थे। शास्त्रों के अनुसार तिथि के पठन और श्रवण से माँ लक्ष्मी की कृपा मिलती है। वार के पठन और श्रवण से आयु में वृद्धि होती है।।

नक्षत्र के पठन और श्रवण से पापों का नाश होता है। योग के पठन और श्रवण से प्रियजनों का प्रेम मिलता है। उनसे वियोग नहीं होता है। करण के पठन-श्रवण से सभी तरह की मनोकामनाओं की पूर्ति होती है। इसलिए हर मनुष्य को जीवन में शुभ फलों की प्राप्ति के लिए नित्य पञ्चांग को देखना, पढ़ना एवं सुनना चाहिए।।

Panchang 10 September 2025

आज का पञ्चांग 10 सितम्बर 2025 दिन बुधवार।।
Aaj ka Panchang 10 September 2025.

विक्रम संवत् – 2082.

संकल्पादि में प्रयुक्त होनेवाला संवत्सर – कालयुक्त.

शक – 1946.

अयन – याम्यायनम्.

गोल – सौम्य.

ऋतु – वर्षा.

मास – अश्विन.

पक्ष – कृष्ण.

गुजराती पंचांग के अनुसार – भाद्रपद कृष्ण पक्ष.

Panchang 10 September 2025

तिथि – तृतीया 15:39 PM बजे तक उपरान्त चतुर्थी तिथि है।।

नक्षत्र – रेवती 16:04 PM तक उपरान्त अश्विनी नक्षत्र है।।

योग – वृद्धि 20:33 PM तक उपरान्त ध्रुव योग है।।

करण – वणिज 05:05 AM तक उपरान्त विष्टि 15:39 PM तक उपरान्त बव करण है।।

चन्द्रमा – मीन राशि पर 16:04 PM तक उपरान्त मेष राशि पर।।

सूर्य – सिंह राशि एवं पूर्वाफाल्गुनी नक्षत्र पर गोचर कर रहे हैं।।

मुम्बई सूर्योदय – प्रातः 06:25:33

मुम्बई सूर्यास्त – सायं 18:44:03

वाराणसी सूर्योदय – प्रातः 05:50:10

वाराणसी सूर्यास्त – सायं 18:10:35

राहुकाल (अशुभ) – दोपहर 12:35 बजे से 14:08 बजे तक।।

विजय मुहूर्त (शुभ) – दोपहर 12:23 बजे से 12:47 बजे तक।।

Panchang 10 September 2025

तृतीया तिथि विशेष – तृतीया तिथि में नमक का दान तथा भक्षण दोनों ही त्याज्य बताया गया है। तृतीया तिथि एक सबला अर्थात बल प्रदान करने वाली तिथि मानी जाती है। इतना ही नहीं यह तृतीया तिथि आरोग्यकारी रोग निवारण करने वाली तिथि भी मानी जाती है। इस तृतीया तिथि की स्वामिनी माता गौरी और इसके देवता कुबेर देवता हैं। यह तृतीया तिथि जया नाम से विख्यात मानी जाती है। यह तृतीया तिथि शुक्ल पक्ष में अशुभ तथा कृष्ण पक्ष में शुभफलदायिनी मानी जाती है।।

तृतीया तिथि केवल बुधवार की हो तो अशुभ मानी जाती है। अन्यथा इस तृतीया तिथि को सभी शुभ कार्यों में लिया जा सकता है। आज तृतीया तिथि को माता गौरी की पूजा करके व्यक्ति अपनी मनोवाँछित कामनाओं की पूर्ति कर सकता है। आज तृतीया तिथि में एक स्त्री माता गौरी की पूजा करके अचल सुहाग की कामना करे तो उसका पति सभी संकटों से मुक्त हो जाता है। आज तृतीया तिथि को भगवान कुबेर जी की विशिष्ट पूजा करनी चाहिये। देवताओं के कोषाध्यक्ष की पूजा आज तृतीया तिथि को करके मनुष्य अतुलनीय धन प्राप्त कर सकता है।।

मित्रों, तृतीया तिथि में जन्म लेने वाला व्यक्ति मानसिक रूप से अस्थिर होता है अर्थात उनकी बुद्धि भ्रमित होती है। इस तिथि का जातक आलसी और मेहनत से जी चुराने वाला होता है। ये दूसरे व्यक्ति से जल्दी घुलते मिलते नहीं हैं बल्कि लोगों के प्रति इनके मन में द्वेष की भावना भी रहती है। इनके जीवन में धन की कमी रहती है, इन्हें धन कमाने के लिए काफी मेहनत और परिश्रम करना पड़ता है।।

Panchang 10 September 2025

रेवती नक्षत्र के जातकों का गुण एवं स्वभाव:- यदि आपका जन्म रेवती नक्षत्र में हुआ है तो आप एक माध्यम कद और गौर वर्ण के व्यक्ति होंगे। रेवती नक्षत्र में जन्मे जातकों के व्यक्तित्व में संरक्षण, पोषण और प्रदर्शन प्रमुख होते है। आप एक निश्चल प्रकृति के व्यक्ति होंगे जो किसी के साथ छल कपट करने में स्वयं डरता है। परंतु आप को क्रोध शीघ्र ही आ जाता है।।

किसी की ज़रा सी विपरीत बात आपसे सहन नहीं होती है। क्रोध में आप आत्म नियंत्रण भी खो देते हैं। परन्तु क्रोध जितनी जल्दी आता है उतनी जल्दी चला भी जाता है। साहसिक कार्य और पुरुषार्थ प्रदर्शन की आपको ललक सदा ही रहती है। आध्यात्मिक होते हुए भी आपका दृष्टिकोण व्यवहारिक होगा। आप किसी भी बात को मानने से पहले भली भाँती जांचते हैं।।

यही दृष्टिकोण आपका अपने मित्रों और सम्बन्धियों के साथ भी रहेगा। आप आँख बंद करके किसी पर भी भरोसा नहीं करेंगे। आप एक बुद्धिमान परन्तु मनमौजी व्यक्ति होंगे जो स्वतंत्र विचारधारा में विश्वास रखता है। आप परिवार से जुड़े हुए व्यक्ति होंगे जो दूसरों की मदद के लिए सदा तैयार रहते हैं। आपके जीवनकाल में विदेश यात्राओं की संभावनाएं प्रबल होंगी।।

रेवती नक्षत्र में पैदा हुए जातक संवेदनशील होते हैं इसलिए शीघ्र ही भावुक हो जाते हैं। आप सिद्धांतों और नैतिकता पर चलने वाले व्यक्ति होंगे जो सबसे अधिक अपनी आत्मा की सुनना और उसी पर चलना भी पसंद करता है। आप किसी भी निर्णय पर पहुँचने से पहले सभी तथ्यों के बारे में जान लेना आवश्यक समझते हैं, और निर्णय लेने के उपरान्त बदलते नहीं हैं।।

बाहरी दुनिया के लिए आप एक जिद्दी और कठोर स्वभाव के व्यक्ति होंगे। परन्तु जीवन में कई बार आप कठिनाईयों से घबराए एवं हारे हुये लगेंगे। इश्वर में पूर्ण आस्था के कारण आप जीवन में सभी अडचनों को साहस के साथ पार कर लेंगे। अपनी कुशाग्र बुद्धि के कारण आप किसी भी प्रकार के कार्यक्षेत्र में सफलता प्राप्त करने के योग्य होंगे।।

रेवती नक्षत्र के जातकों को सरकारी नौकरी, बैंक, शिक्षा, लेखन, व्यापार, ज्योतिष एवं कला के क्षेत्र में कार्य करते देखा गया है। अपने जीवन के 23वें वर्ष से 26वें वर्ष तक आप अनेक सकारात्मक परिवर्तन देखेंगे। परन्तु 26वें वर्ष के बाद का समय कुछ रुकावटों भरा होगा जो कि 42वें वर्ष तक चलेगा। 50वें वर्ष के उपरान्त आपके जीवन में स्थिरता, संतुष्टि एवं शांति का अनुभव होगा।।

अपने स्वतंत्र विचारों और स्वभाव के कारण अपने कार्यों में किसी का हस्तक्षेप आपको कतई पसंद नहीं होगा। और न ही आप किसी क्षेत्र में स्थिर होकर कर कार्य कर पाते हैं। अपने बदलते कार्यक्षेत्रों के कारण आपको अपने परिवार से भी दूर रहना पड़ सकता है। अपने कार्यों के प्रति निष्ठा और परिश्रम के कारण आप करियर की ऊँचाईयों तक पहुंच जाते हैं।।

परन्तु मेहनत के अनुरूप जीवन में अपेक्षित मान-सम्मान और पहचान नहीं मिल पाती है। अपने जीवन में रेवती नक्षत्र के जातकों को माता पिता का सहयोग कभी नहीं प्राप्त होता है। यही नहीं आपके करीबी मित्र या रिश्तेदार भी कष्ट के समय आपके साथ नहीं होते हैं। परन्तु आपका दाम्पत्य जीवन बहुत खुशहाल होगा।।

विवाह के उपरान्त आपका जीवन साथी आपके साथ हर प्रकार से सहयोग करेगा तथा आपका जीवन सुखमय और आनंदित रहेगा। रेवती नक्षत्र के जातकों का प्रमुख लक्षण उनका साहस एवं सदव्यहार होता है। रेवती नक्षत्र के जातकों को बुखार, मुख, कान और आंतड़ियों से सम्बंधित रोग होने की संभावनाएं होती हैं।।

रेवती नक्षत्र का प्रथम चरण:- रेवती नक्षत्र के देवता पूषा हैं तथा नक्षत्र स्वामी बुध है। इस रेवती नक्षत्र के प्रथम चरण का स्वामी गुरु हैं। रेवती नक्षत्र के प्रथम चरण में जन्मा जातक ज्ञानी होता है। लग्न नक्षत्र स्वामी बुध, नक्षत्र चरण स्वामी से शत्रुता रखता है। अतः गुरु की दशा अत्यंत शुभ फल देती है। गुरु की दशा में जातक को पद प्रतिष्ठा की प्राप्ति होती है एवं यह दशा जातक के लिए स्वास्थ्य वर्धक रहेगी। बुध की दशा माध्यम फल देनेवाली होती है।।

रेवती नक्षत्र का द्वितीय चरण:- रेवती नक्षत्र के देवता पूषा हैं तथा नक्षत्र स्वामी बुध है। इस नक्षत्र के दूसरे चरण का स्वामी शनि हैं। रेवती नक्षत्र के दूसरे चरण में जन्मे जातक की रूचि तस्करी में होती है। नक्षत्र चरण के स्वामी शनि से लग्नेश गुरु शत्रुता रखता है तथा नक्षत्र स्वामी बुध की भी गुरु से शत्रुता है। अतः गुरु और शनि की दशा माध्यम फलदायी होती है। तथा बुध की दशा अत्यंत शुभ फल देती है। बुध की दशा में गृहस्थ सुख एवं भौतिक उपलब्धियां प्राप्त होंगी।।

रेवती नक्षत्र का तृतीय चरण:- रेवती नक्षत्र के देवता पूषा हैं तथा नक्षत्र स्वामी बुध है। इस नक्षत्र के तीसरे चरण का स्वामी शनि हैं। रेवती नक्षत्र के तीसरे चरण में जन्मा जातक कोर्ट कचेहरी के मुकदमे अथवा वाद विवाद में सदैव विजयी होता है। नक्षत्र चरण स्वामी शनि लग्नेश गुरु का शत्रु है परन्तु बुध से शनि की मित्रता है। अतः गुरु की दशा मध्यम परन्तु शनि की दशा उत्तम फल देती है। बुध की दशा में गृहस्थ सुख एवं भौतिक उपलब्धियां प्राप्त होंगी।।

रेवती नक्षत्र का चतुर्थ चरण:- रेवती नक्षत्र के देवता पूषा हैं तथा नक्षत्र स्वामी बुध है। इस नक्षत्र के चौथे चरण का स्वामी गुरु हैं। रेवती नक्षत्र के चौथे चरण में जन्मा जातक सदैव गृह कलेश में ही उलझा रहता है। लग्नेश और नक्षत्र चरण स्वामी दोनों ही गुरु हैं अतः गुरु की दशा में जातक को अति उत्तम फलों की प्राप्ति होती है। गुरु की दशा में जातक पद प्रतिष्ठा की प्राप्ति करेगा। गुरु की नक्षत्र स्वामी बुध में परस्पर शत्रुता है। अतः बुध की दशा जातक के लिए माध्यम फलदायी होती है।।

Panchang 10 September 2025

आज बुधवार के दिन यह सावधानी अवश्य रखें:- बुधवार को बालों से संबंधित कोई भी वस्तु न खरीदें, टूथ ब्रश आदि भी नहीं खरीदना चाहिए। बुधवार के दिन दूध की खीर या अन्य कोई व्यंजन जिसमें दूध जलने की संभावना हो नहीं बनाना चाहिए। अगर हो सके तो आज के दिन दूध न उबालें। बुधवार के दिन किसी को उधार पैसे न दें। इससे आपको धन संबंधित परेशानी हो सकती है।।

आज बुधवार के दिन ये विशेष उपाय करें – बुधवार गणपति, गजानन, विघ्नहर्ता श्री गणेशजी का दिन है। इसलिये आज के दिन इनकी पूजा का विशेष महत्त्व होता है। आज के दिन गणपति की पूजा के उपरान्त मोदक, बेशन के लड्डू एवं विशेष रूप से दूर्वादल का भोग लगाना चाहिये इससे मनोकामना की सिद्धि तत्काल होती है।।

अगर आपकी कुण्डली में बुध अच्छा हो तो इन कार्य क्षेत्र में आपको सफलता सहजता से मिल सकती है। बुधवार को भी इन कामों को करना चाहिए। जिससे आपके जीवन में सफलता प्राप्त हो जाएगी।।

ज्योतिष, शेयर, दलाली जैसे कार्यों के लिए भी यह दिन शुभ माना गया है। सिंदूर का तिलक या टीका लगाएं। इस दिन पूर्व, दक्षिण और नैऋत्य दिशा में यात्रा कर सकते हैं। इस दिन धन जमा करने से धन में बरकत होती है। माता दुर्गा के मंदिर जाना चाहिए। इस दिन किसी कन्या को साबुत बादाम भी दान में देना चाहिए।।

बुधवार का विशेष – बुधवार के दिन तेल मर्दन अथवा मालिश करने से माता लक्ष्मी प्रशन्न होती हैं और धनलाभ होता है – (मुहूर्तगणपति)।।
बुधवार को क्षौरकर्म (बाल दाढी अथवा नख काटने या कटवाने) से धन एवं पूण्य का लाभ होता है।। (महाभारत अनुशासनपर्व)।।
दिशाशूल – बुधवार को उत्तर दिशा की यात्रा नहीं करनी चाहिये, यदि अत्यावश्यक हो, यात्रा करनी ही हो तो धनिया, तिल की वस्तु, ईलायची अथवा पिस्ता खाकर यात्रा कर सकते है।।
Panchang 10 September 2025

मित्रों, बुधवार को जन्म लेने वाले व्यक्ति मधुर वाणी बोलने वाले होते हैं। इस तिथि के जातक पठन पाठन में रूचि रखते हैं और ज्ञानी होते हैं। ऐसे लोगों का लेखन में अत्यधिक रूचि होती है और अधिकांशत: इसे अपनी जीवका का साधन भी बना लेते हैं। ये जिस विषय का चयन करते हैं उसके अच्छे जानकार होते हैं। इनके पास धन तो होता है परंतु ऐसे लोग धोखेबाज भी होते हैं।।

ऐसे जातक सामन्य रंग-रूप, बुद्धिमान, लेखक, पत्रकार, प्रकाशक एवं द्विस्वभाव के होते हैं। किसी एक कार्य को न कर अनेक कार्य में जुटे होते हैं। वैसे शान्तिप्रिय रहना इनका स्वभाव होता है। अधिकांशतः मार्केटिंग के क्षेत्र में ऐसे लोगों को उत्तम सफलता मिलती है। बुधवार को जन्म लेने वाले हमेशा असमंजस के शिकार रहते हैं। वह एक समय कई कार्यों पर हाथ आजमाने की कोशिश करते हैं, कई बार सफलता मिल भी जाती है और कई बार गिरते भी हैं।।

इनमें छल-कपट नहीं होता और कई बार तो ये दूसरों की गलतियां खुद पर तक ले लेते हैं। इनको लेखन, पत्रकारिता, प्रकाशन, बैंकिंग और मार्केटिंग के क्षेत्र में अपना किस्मत आजमाना चाहिये। इन क्षेत्रों में इन्हें अच्छी सफलता की संभावना होती है। इनके लिये बुधवार एवं शुक्रवार का दिन भाग्यवर्धक होता है तथा 3 और 6 इनका लकी नम्बर होता है।।

आज का सुविचार – मित्रों, यदि जीवन में लोकप्रिय होना हो तो सबसे ज्यादा “आप” शब्द का, उसके बाद “हम” शब्द का और सबसे कम “मैं” शब्द का प्रयोग करना चाहिए। इस संसार में कोई किसी का हमदर्द नहीं होता, लाश को शमशान में रखकर अपने लोग ही पुछ्ते हैं.. और कितना वक़्त लगेगा।।

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मकर राशि वालों के मृत्यु का योग।। Makar Rashi Walo Ki Mrityu.” – My Latest video.

“तुला राशि वालों की मृत्यु किस उम्र में होगी।। Tula Rashi Walo Ki Mrityu.” – My Latest video.

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10:00 AM to 02:00 PM And 04:30 PM to 08:30 PM.

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