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आज का लेख एवं आज का पञ्चांग 19 अगस्त 2025 दिन मंगलवार।।
मित्रों, तारीख 19 अगस्त 2025 दिन मंगलवार को भाद्रपद मास के कृष्ण पक्ष कि एकादशी तिथि है। आज की इस एकादशी को जया अथवा अजा एकादशी का पावन व्रत होता है। आज की इस अजा एकादशी व्रत का मान सभी के लिए है अर्थात स्मार्त और वैष्णव सभी इस जया अथवा अजा एकादशी का आज ही व्रत रख सकते हैं। शास्त्रानुसार एकादशी सर्वश्रेष्ठ एवं सर्वाधिक पुण्यदायी व्रत होता है। इसे हर एक व्यक्ति को अवश्य करना चाहिये। आज स्थायीजययोग एवं त्रिपुष्कर योग भी है। उसके पहले ही आज यमघंटयोग भी है। आप सभी सनातनियों को “जया अथवा अजा एकादशी के पावन व्रत” की हार्दिक शुभकामनायें।।
हे आज की तिथि (तिथि के स्वामी), आज के वार, आज के नक्षत्र (नक्षत्र के देवता और नक्षत्र के ग्रह स्वामी), आज के योग और आज के करण। आप इस पंचांग को सुनने और पढ़ने वाले जातकों पर अपनी कृपा बनाए रखें। इनको जीवन के समस्त क्षेत्रो में सदैव ही सर्वश्रेष्ठ सफलता प्राप्त हो। ऐसी मेरी आप सभी आज के अधिष्ठात्री देवों से हार्दिक प्रार्थना है।।
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वैदिक सनातन हिन्दू पञ्चांग, Vedic Sanatan Hindu Panchang पाँच अंगो के मिलने से बनता है, ये पाँच अंग इस प्रकार हैं :- 1:- तिथि (Tithi), 2:- वार (Day), 3:- नक्षत्र (Nakshatra), 4:- योग (Yog) और 5:- करण (Karan).
पञ्चांग का पठन एवं श्रवण अति शुभ माना जाता है। इसीलिए भगवान श्रीराम भी पंचाग का श्रवण करते थे। शास्त्रों के अनुसार तिथि के पठन और श्रवण से माँ लक्ष्मी की कृपा मिलती है। वार के पठन और श्रवण से आयु में वृद्धि होती है।।
नक्षत्र के पठन और श्रवण से पापों का नाश होता है। योग के पठन और श्रवण से प्रियजनों का प्रेम मिलता है। उनसे वियोग नहीं होता है। करण के पठन-श्रवण से सभी तरह की मनोकामनाओं की पूर्ति होती है। इसलिए हर मनुष्य को जीवन में शुभ फलों की प्राप्ति के लिए नित्य पञ्चांग को देखना, पढ़ना एवं सुनना चाहिए।।

आज का पञ्चांग 19 अगस्त 2025 दिन मंगलवार।।
Aaj ka Panchang 19 August 2025.
विक्रम संवत् – 2082.
संकल्पादि में प्रयुक्त होनेवाला संवत्सर – कालयुक्त.
शक – 1946.
अयन – याम्यायनम्.
गोल – सौम्य.
ऋतु – वर्षा.
मास – भाद्रपद.
पक्ष – कृष्ण.
गुजराती पंचांग के अनुसार – श्रावण कृष्ण पक्ष.
Panchang 19 August 2025
तिथि – एकादशी 15:34 PM बजे तक उपरान्त द्वादशी तिथि है।।
नक्षत्र – मृगशिरा 02:07 AM तक उपरान्त आर्द्रा नक्षत्र है।।
योग – वज्र 20:30 PM तक उपरान्त सिद्धि योग है।।
करण – बव 04:27 AM तक उपरान्त बालव 15:34 PM तक उपरान्त कौलव करण है।।
चन्द्रमा – मिथुन राशि पर।।
सूर्य – सिंह राशि एवं मघा नक्षत्र पर गोचर कर रहे हैं।।
मुम्बई सूर्योदय – प्रातः 06:20:16
मुम्बई सूर्यास्त – सायं 19:02:41
वाराणसी सूर्योदय – प्रातः 05:35:45
वाराणसी सूर्यास्त – सायं 18:25:38
राहुकाल (अशुभ) – दोपहर 15:53 बजे से 17:28 बजे तक।।
शुभ मुहूर्त – दोपहर 12.30 बजे से 12.54 बजे तक।।
Panchang 19 August 2025
मित्रों, तारीख 19 अगस्त 2025 दिन मंगलवार को भाद्रपद मास के कृष्ण पक्ष कि एकादशी तिथि है। आज की इस एकादशी को जया अथवा अजा एकादशी का पावन व्रत होता है। आज की इस अजा एकादशी व्रत का मान सभी के लिए है अर्थात स्मार्त और वैष्णव सभी इस जया अथवा अजा एकादशी का आज ही व्रत रख सकते हैं। शास्त्रानुसार एकादशी सर्वश्रेष्ठ एवं सर्वाधिक पुण्यदायी व्रत होता है। इसे हर एक व्यक्ति को अवश्य करना चाहिये। आज स्थायीजययोग एवं त्रिपुष्कर योग भी है। उसके पहले ही आज यमघंटयोग भी है। आप सभी सनातनियों को “जया अथवा अजा एकादशी के पावन व्रत” की हार्दिक शुभकामनायें।।
एकादशी तिथि विशेष – एकादशी तिथि को चावल एवं दाल नहीं खाना चाहिये तथा द्वादशी को मसूर नहीं खाना चाहिये। यह इस तिथि में त्याज्य बताया गया है। एकादशी को चावल न खाने अथवा रोटी खाने से व्रत का आधा फल सहज ही प्राप्त हो जाता है। एकादशी तिथि एक आनन्द प्रदायिनी और शुभफलदायिनी तिथि मानी जाती है। एकादशी को सूर्योदय से पहले स्नान के जल में आँवला या आँवले का रस डालकर स्नान करना चाहिये। इससे पुण्यों कि वृद्धि, पापों का क्षय एवं भगवान नारायण के कृपा कि प्राप्ति होती है।।
एकादशी तिथि के देवता विश्वदेव होते हैं। नन्दा नाम से विख्यात यह तिथि शुक्ल पक्ष में शुभ तथा कृष्ण पक्ष में अशुभ फलदायिनी मानी जाती है। एकादशी तिथि एक आनंद प्रदायिनी और शुभ फलदायी तिथि मानी जाती है। इसलिये आज दक्षिणावर्ती शंख के जल से भगवान नारायण का पुरुषसूक्त से अभिषेक करने से माँ लक्ष्मी प्रशन्न होती है एवं नारायण कि भी पूर्ण कृपा प्राप्त होती है।।
एकादशी तिथि को जिस व्यक्ति का जन्म होता है वो धार्मिक तथा सौभाग्यशाली होता है। मन, बुद्धि और हृदय से ऐसे लोग पवित्र होते हैं। इनकी बुद्धि तीक्ष्ण होती और लोगों में बुद्धिमानी के लिए जाने जाते है। इनकी संतान गुणवान और अच्छे संस्कारों वाली होती है, इन्हें अपने बच्चों से सुख एवं सहयोग भी प्राप्त होता है। समाज के प्रतिष्ठित लोगों से इन्हें मान सम्मान मिलता है।।
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Panchang 19 August 2025
वैदिक सनातन धर्म में एकादशी तिथि बहुत ही पुण्य फलदायी तिथि मानी जाती है। प्रत्येक मास में एकादशी तिथि दो बार आती है। इसके अनुसार प्रत्येक वर्ष में 24 एकादशी तिथियां आती हैं। लेकिन अधिक मास की एकादशियों के साथ इनकी संख्या 26 हो जाती है। वैदिक पञ्चांग की ग्यारहवीं तिथि एकादशी कहलाती है। इस तिथि का नाम ग्यारस या ग्यास भी है। यह तिथि चंद्रमा की ग्यारहवीं कला है, इस कला में अमृत का पान उमा देवी करती हैं।।
एकादशी तिथि का निर्माण शुक्ल पक्ष में तब होता है जब सूर्य और चंद्रमा का अंतर 121 डिग्री से 132 डिग्री तक होता है। वहीं कृष्ण पक्ष में एकादशी तिथि का निर्माण सूर्य और चंद्रमा का अंतर 301 से 312 डिग्री तक होता है। एकादशी तिथि के स्वामी विश्वेदेवा को माना गया है। संतान, धन-धान्य और घर की प्राप्ति के लिए इस तिथि में जन्मे जातकों को विश्वेदेवा की पूजा अवश्य करनी चाहिए।।
यदि एकादशी तिथि रविवार और मंगलवार को पड़ती है तो मृत्युदा योग बनाती है। इस योग में शुभ कार्य करना वर्जित है। इसके अलावा एकादशी तिथि शुक्रवार को होती है तो सिद्धा कहलाती है। ऐसे समय में किसी भी कार्य की सिद्धि प्राप्ति का योग निर्मित होता है। यदि किसी भी पक्ष में एकादशी सोमवार के दिन पड़ती है तो क्रकच योग बनाती है, जो अशुभ होता है। इसमें शुभ कार्य निषिद्ध बताये गये हैं। एकादशी तिथि नंदा तिथियों की श्रेणी में आती है। वहीं किसी भी पक्ष की एकादशी तिथि पर भगवान विष्णु की पूजा करना शुभ माना जाता है।।
Panchang 19 August 2025
आर्द्रा नक्षत्र के जातकों का गुण एवं स्वभाव:- यदि आपका जन्म आर्द्रा नक्षत्र में हुआ है तो आपकी रूचि अध्ययन में बहुत अधिक होगी। आप सदैव ही अपने आस-पास की घटनाओं के बारे में जागरूक रहते हैं। किताबों से विशेष लगाव आपकी पहचान है। एक और विशेषता जो की आर्दा नक्षत्र में पैदा हुए जातकों में अक्सर देखी गयी है वह है उनकी व्यापार करने की समझ। अपनी तीक्ष्ण व्यापारिक बुद्धि के कारण आप व्यापार क्षेत्र में शीघ्र ही सफलता की उचाईयों को छू लेने में सक्षम होते है।।
आपमें भविष्य में घटित होने वाली घटनाओं का पूर्वाभास करने की अजब क्षमता होती है। दूसरों की मन की बात भी आप आसानी से भांप लेते हैं। इसलिए जीवन में धोखा खाने की संभावनाएं कम ही रहती है। मीठी और रसीली बातें आपके व्यवहार में होती हैं। इसलिए व्यापारिक संस्थाओं में अधिकतर जनसंपर्क के पद के लिए आपको चुना जाता है। परन्तु कड़े अनुशासन में रहना आप के बस की बात नहीं होती है।।
जहाँ आपसे किसी के दिल की बात छुपी नहीं रहती वहीँ आप अपने दिल की बात की किसी की भनक भी नहीं लगने देते। आप एक अन्तर्मुखी व्यक्ति होंगे जो शीघ्र ही किसी के सामने आपने दिल की बात नहीं रखते। कभी-कभी आप रहस्यवादी बन जाते हैं जिसके मन की थाह पाना बहुत कठिन होता है। आप दिमाग से अधिक दिल की सुनने वाले व्यक्ति हैं।।
आप अक्सर सुनते सभी की हैं परन्तु करते केवल अपने मन की हैं। इस कारण आपको कभी-कभी नुकसान भी उठाना पड़ जाता है। आप धन खर्च करने से पहले सोच विचार नहीं करते इस कारण जीवन में अधिकतर आप धन की कमी महसूस करते हैं। आर्द्रा नक्षत्र में जन्मे जातक स्वभाव से क्रोधी एवं अभिमानी होते हैं। आर्द्रा नक्षत्र में जन्मे जातकों को अस्थमा, दमा एवं डिप्थेरिया जैसी बीमारियों के शिकार होते हैं।।
प्रथम चरण:- आर्द्रा नक्षत्र का स्वामी ग्रह राहू को माना जाता है। राहू की दशा 18 वर्ष की होती हैं। इसके प्रथम चरण का स्वामी ग्रह बृहस्पति हैं। राहु और बृहस्पति की युति के कारण गुरु चंडाल योग बनता है। अतः इस योग में जन्मा जातक बहुत धन खर्च करने वाला व्ययी होता है। लग्नेश बुध की दशा अति उत्तम फल देगी तथा आपका भाग्योदय बृहस्पति की दशा में होगा।।
द्वितीय चरण:- आर्द्रा नक्षत्र का स्वामी ग्रह राहू को माना जाता है। राहू की दशा 18 वर्ष की होती हैं। इसके द्वितीय चरण का स्वामी ग्रह शनि हैं। जो स्वल्प धनि है, राहु भी स्वलप धनि है अतः दोनों के योग के कारण जातक अपने जीवन काल में दरिद्रता का शिकार हो जाता है। लग्नेश बुध की दशा अति उत्तम फल देगी तथा आपका भाग्योदय बृहस्पति और शनि की दशा में होगा।।
तृतीय चरण:- आर्द्रा नक्षत्र का स्वामी ग्रह राहू को माना जाता है। राहू की दशा 18 वर्ष की होती हैं। इसके तृतीय चरण का स्वामी ग्रह भी शनि हैं। शास्त्रों के अनुसार आर्दा नक्षत्र के तीसरे चरण में जन्मे जातकों की आयु सामान्यतः कम होती है। लग्नेश बुध की दशा अति उत्तम फल देगी। राहु भी शुभ फल देगा। तथा शनि की दशा में जातक का भाग्योदय होगा।।
चतुर्थ चरण:- आर्द्रा नक्षत्र का स्वामी ग्रह राहू को माना जाता है। राहू की दशा 18 वर्ष की होती हैं। इसके चतुर्थ चरण का स्वामी ग्रह बृहस्पति हैं। राहु और बृहस्पति की युति के कारण गुरु चंडाल योग बनता है। अतः इस योग में जन्मे जातक में चोरी करने की आदत पड़ जाती है। लग्नेश बुध की दशा अति उत्तम फल देगी। राहु भी शुभ फल देगा।।
Panchang 19 August 2025
मंगलवार को नए कपड़े न ही खरीदना चाहिये और न ही पहली बार पहनना चाहिए। मंगलवार वाहन एवं भूमि-भवन आदि भी नहीं खरीदना चाहिये।।
मंगलवार का विशेष – मंगलवार के दिन तेल मर्दन (शरीर में तेल मालिश) करने से आयु घटती है – (मुहूर्तगणपति)।।
मंगलवार को क्षौरकर्म (बाल दाढी अथवा नख काटने या कटवाने) से भी आयु की हानि होती है।। (महाभारत अनुशासनपर्व)।।
दिशाशूल – मंगलवार को उत्तर दिशा की यात्रा नहीं करनी चाहिये, यदि अत्यावश्यक हो तो कोई गुड़ खाकर यात्रा कर सकते है।।
मंगलवार के दिन क्षौरकर्म अर्थात दाढ़ी या बाल काटने या कटवाने से उम्र कम होती है। अत: मंगलवार को बाल या दाढ़ी नहीं कटवाना चाहिए। मंगलवार को बजरंगबली की पूजा का विशेष महत्व है।।
मंगलवार को यथासंभव कोशिश करके मंदिर में जाकर हनुमान जी के दर्शन करके उन्हें लाल गुलाब, इत्र अर्पित करके बूंदी/लाल पेड़े या गुड़ और चने का प्रसाद चढ़ाएं। हनुमान जी की पूजा से भूत-प्रेत एवं नज़र की बाधा से बचाव होता है साथ ही आपके समस्त शत्रु परास्त होते है।।
मंगलवार के व्रत से सुयोग्य संतान की प्राप्ति होती है, बल, साहस और सम्मान में भी वृद्धि होती है। मंगलवार को धरती पुत्र मंगलदेव की आराधना करने से जातक को मुक़दमे, राजद्वार में सफलता मिलती है, उत्तम भूमि, भवन का सुख मिलता है, मांगलिक दोष दूर होता है।।
Panchang 19 August 2025
मंगलवार को जिनका जन्म होता है, वो जातक स्वभाव से उग्र, साहसी, प्रयत्नशील एवं महत्वाकांक्षी होते हैं। इनमें नेतृत्व की क्षमता अन्यों के मुकाबले बहुत शुद्ध होती है। ऐसे लोग जिम्मेदारियों के कार्य में सफल भी होते हैं। खिलाड़ी, पहलवान, सेना तथा पुलिस विभाग में सफल रहते हैं। यह जातक अधिकांशतः रक्तवर्ण या गेहूंआ रंग होता है।।
मंगलवार को जन्म लेनेवाला जातक जटिल बुद्धि वाला होता है। ये किसी भी बात को आसानी से नहीं मानते हैं। ऐसे लोग शक्की किस्म के होते हैं इसलिये सभी बातों में इन्हें कुछ न कुछ खोट दिखाई देता है। ये युद्ध प्रेमी और पराक्रमी होते हैं तथा अपनी बातों पर कायम रहने वाले होते हैं। जरूरत पड़ने पर ऐसे जातक हिंसा पर भी उतर आते हैं। इनके स्वभाव की एक बड़ी विशेषता है कि ये अपने कुटुम्ब का पूरा ख्याल रखते हैं।।
मंगलवार को जन्म लेने वाले व्यक्ति स्वभावानुसार क्रोधी, उग्र, पराक्रमी, जुझारू, अदम्य साहसी, आलोचना सहन न करने वाले और सांगठनिक क्षमता वाले होते हैं। नेतागिरी, पुलिस, सेना, नौकरशाह तथा खिलाड़ी के रूप में इनका कैरियर सफल रहता है। इनका शुभ अंक 3, 6, 9 तथा शुभ रंग लाल एवं मैरुन और इनका शुभ दिन मंगलवार एवं शुक्रवार होता है।।
Panchang 19 August 2025
मंगलवार का विशेष टिप्स – यदि आपके जीवन में कभी अचानक ज्यादा खर्च की स्थिति बन जाय, तो किसी भी मंगलवार के दिन हनुमानजी के मंदिर में गुड़-चने का भोग श्रद्धापूर्वक लगाएं। भोग लगाने के बाद वहीँ बैठकर 11 बार हनुमान चालीसा का पाठ भी अवश्य करें।।
मंगलवार के दिन ये विशेष उपाय करें – मंगलवार को हनुमान जी की पूजा का विशेष महत्त्व होता है। आज हनुमान जी को चमेली का तेल चढ़ाना, चमेली के तेल का ही दीपक जलाना तथा माखन का भोग लगाना चाहिये, इससे हर प्रकार की मनोकामना की सिद्धि तत्काल होती है।।
आज का सुविचार – मित्रों, दुनिया में भगवान का संतुलन कितना अद्भुत हैं, 50 कि.ग्रा. अनाज का बोरा जो उठा सकता हैं वो खरीद नही सकता और जो खरीद सकता हैं वो उठा नही सकता। जब आप गुस्सें में हो तब कोई फैसला न लेना और जब आप खुश हो तब कोई वादा न करना, अगर ये याद रखेंगे तो कभी नीचा नही देखना पड़ेगा।।
Panchang 19 August 2025
अरिष्ट अर्थात एक्सिडेन्ट एवं चोट आदि लगने के योग ।।….. आज के इस पुरे लेख को पढ़ने के लिये इस लिंक को क्लिक करें…. वेबसाईट पर पढ़ें: & ब्लॉग पर पढ़ें:
जया एकादशी व्रत कथा एवं पूजा विधि:: Read more.
एकादशी व्रत विधि एवं कामहात्म्य कथा:: Read more.
“मकर राशि वालों के मृत्यु का योग।। Makar Rashi Walo Ki Mrityu.” – My Latest video.
“तुला राशि वालों की मृत्यु किस उम्र में होगी।। Tula Rashi Walo Ki Mrityu.” – My Latest video.
“मिथुन राशि वालों की मृत्यु किस उम्र में होगी। Mithun Rashi Walo Ki Mrityu.
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Panchang 19 August 2025
वास्तु विजिटिंग के लिये तथा अपनी कुण्डली दिखाकर उचित सलाह लेने एवं अपनी कुण्डली बनवाने अथवा किसी विशिष्ट मनोकामना की पूर्ति के लिए संपर्क करें।।
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